तुझको खुदा ने रुक-रुक बनाया,
पूरी ज़माने की खुदाई तुझ में ही भर दी,
हर अंग तेरा जैसे ,
रह-रह तू बरसे सावन महीना…
उठाये जो हाथ उन्हें मांगने के लिए,
किस्मत ने कहा, अपनी औकात में रहो।
काश तकदीर भी होती किसी जुल्फ की तरह…
जब जब बिखरती संवार लेते…
Two Line Love Shayari
ये प्यार भी अजीब चीज़ है,
जिससे होता है
उसके सिवा पूरे मोहल्ले को
पता होता है