दो पागल IPL मैच देख रहे थे.
क्रिकेटर ने छक्का मारा.
पहला पागल बोल वाह क्या गोल किया हैं.
दूसरा पागल बोला – अरे !! गोल इसमें नही, क्रिकेट में होता हैं.
इश्क का होना भी लाजमी है शायरी के लिये..कलम लिखती तो दफ्तर का बाबू भी ग़ालिब होता।
नज़रें मिल जाएं तो प्यार हो जाता है,
पलकें उठ जाएं तो इज़हार हो जाता है,
ना जाने क्या कशिश है आपकी चाहत में,
कि कोई अनजान भी...
हम तो अकेले ही चले थे मंजिले सफर
लड़कियां मिलती रही शादियां होती गई।
..
कबीर बेदी