आ गया है फर्क तुम्हारी नजरों में यकीनन…
अब एक खास अंदाज़ से नजर अंदाज़ करते हो हमे…
जिसकी नीति अच्छी होगी,
उसकी हमेशा उन्नत होगी,
“मैं श्रेष्ट हूँ”… यह आत्मविश्वास है,
लेकिन
“सिर्फ मैं ही श्रेष्ट हूँ”…यह अहंकार है।
अगर भरोसा उपरवाले पर है,
तो लिखा तक़दीर में है वही पाओगे,
मगर भरोसा अगर खुद पर है,
वाही पाओगे जो आप चाहते हो।
Main Jo Chahu To Tod Du Naata Tumse
Par Mein Buzdil Hu
Maut Se Darr Lagta Hai …
एक बस का एक्सिडेंट हो गया ,,
,
ड्राइवर , जोर जोर से रो रहा था ,,
हाय मेरा हाथ कट गया ,बहुत दर्द हो रहा है ,
पप्पू:- चुप कर साले ,उसे देख उसका तो सिर कट गया ,
फिर भी देख कैसे चुपचाप पड़ा है