दोस्तों रात्री का समय सबसे अच्छा समय होता है हम सभी के लिए क्यूंकि दिन भर की दौड़ धुप के बाद एक रात्रि का ही वक़्त होता है जब हम शांति से बैठते है और सभी दिक्कतों परेशानियों को भूल कर एक सुन्दर और नई सुबह का इंतज़ार में सो जाते हैं.
एक जैसे दोस्त सारे नही होते,कुछ हमारे होकर भी हमारे नहीं होते,आपसे दोस्ती करने के बाद महसूस हुआ,कौन कहता है ‘तारे ज़मीं पर’नहीं होते.
रात गुमसुम हैं मगर चाँद खामोश नहीं,कैसे कह दूँ फिर आज मुझे होश नहीं,ऐसे डूबा तेरी आँखों के गहराई में आज,हाथ में जाम हैं,मगर पिने का होश नहीं.
नींद चुराने वाले पूछते हैं सोते क्यों नही,इतनी ही फिक्र है तो फिर हमारे होते क्यों नही।