मेरे अश्को से तू अपना दामन साफ कर ,
अकेले तड़पता हूँ ऐ खुदा इन्साफ कर ,
उनकी बेवफाई में कुछ राज छुपा है ,
मेरे खुदा तू उनके हर गुनाह माफ़ कर .
वफा क्या होती है?
काश तुम जान जाती ...
ना हम, ना तुम अकेली होती ।
Diye Hain Zindagi Ne Zaḳhm Aise;Ki Jin Ka Waqt Bhi Marham Nahin Hai!
Apni tanhaayi se tang aa kar..
Bahut se aainey khareed laya hun …
उसने मोहब्बत, मोहब्बत से ज़्यादा की थी,
हमने मोहब्बत उस से भी ज़्यादा की थी,
वो किसे कहेंगे मोहब्बत की इन्तहा,
हमने शुरुआत ही इन्तहा से ज़्यादा की थी.