सुना है मोहब्बत कर ली तुमने भी,
अब किधर मिलोगे, पागलखाने या मैखाने
Na Samajh Sakoge Qayamat Tak Jise Tum,,
Qasam tumhari tumhen itna pyar karte hain..
हर रिश्ते में विश्वास रहने दो;
जुबान पर हर वक़्त मिठास रहने दो;
यही तो अंदाज़ है जिंदगी जीने का;
न खुद रहो उदास, न दूसरों को रहने दो।
आ गया है फर्क तुम्हारी नजरों में यकीनन…
अब एक खास अंदाज़ से नजर अंदाज़ करते हो हमे…
वो मुस्कुरा के मुकरने
की अदा जानता है
मैं भी आदत बदल
लेता तो सुकून में होता