राधा का रंग और कान्हा की पिचकारी
प्यार के रंग से रंग दो दुनिया सारी
यह रंग ना जाने कोई जात ना कोई बोली
मुबारक हो आपको रंगों भारी होली
एक तू तेरी आवाज़ याद आएगी,
तेरी कही हुई हर बात याद आएगी,
दिन ढल जाएगा रात याद आएगी,
हर लम्हा पहली मुलाकात याद आएगी!!
मुझे भी जरुरुत है तेरी बाहो की।दुनिया के वजूद और दुनिया के रास्ते बहुत कमजोर है.
तू मुहब्बत है मेरी इसलिए दूर है मुझसे
अगर जिद होती तो अब तक बाँहों में होती
साथ रोती थी हँसा करती थी
एक परी मेरे दिल में बसा करती थी
किस्मत थी हम जुदा हो गए वरना वो
मुझे अपनी तकदीर कहा करती थी