रात गुज़री फिर महकती सुबह आई,
दिल धड़का फिर आपकी याद आई,
आँखों ने महसूस किया उस हवा को,
जो आपको छूकर हमारे पास आई!
सुप्रभात!
बडी लम्बी खामोशी से गुजरा हूँ मै,किसी से कुछ कहने की कोशिश मे।
Jab bhi Dekhta hu Tumhe
Lagta hai ye Din Naya hai
Nigahein Tumko Dekhna Chahti hai
Mere Dilko ye kya hua hai
Deewana hun tera, mujhe inkaar nahi,
Kaise keh dun ki mujhe tumse pyar nahi,
Kuch shararat to teri nazro mein bhi thi,
Main akela hi to iska gunehgar nahi…!!
सपनो से दिल लगाने की आदत नहीं रही,
हर वक्त मुस्कुराने की आदत नहीं रही,
ये सोच के की कोई मनाने नहीं आएगा,
हमें रूठ जाने की आदत नहीं रही |