हेल्थी लाइफस्टाइल और सुखपूर्व जीवन जीने के हर कोई प्रयत्न करता रहता है. आज के समय में सुखी वहीं व्यक्ति है जो सेहतमंद और रोगों से दूर हैं. वर्ना आज के समय में लोगों को कई सारी तकलीफों का सामना करना पड़ रहा हैं.
कई सारे बीमारियों से ये लोग ग्रसित है जैसे शुगर, हाई ब्लड प्रेशर, मोटापा, कोलेस्ट्रॉल आदि.
बीमार होने के पीछे का सबसे बड़ा कारण आपका रहन-सहन और खान-पान होता है. लेकिन वास्तुशास्त्र के अनुसार घर में रखीं कुछ चीजों की वजह से भी परिवार के लोगों को बीमारी होने लगती हैं. इन चीजों का घर में होने का नकारत्मक प्रभाव आपके सेहत पर पड़ने लगता हैं. इसलिए आज हम आपको बताएंगे कि वास्तुशास्त्र के अनुसार घर में कभी भी किन चीजों को नहीं रखना चाहिए. तो चलिए इनके बारे में विस्तार से जानते हैं...
आंगन का ना होना
पहले के समय में लोग अपने घर में बड़ा सा आंगन बनाते थे. जिसे वास्तु के अनुसार घर का ब्रह्म स्थान माना जाता है. जहां से घर में कई सारी सकारत्मक ऊर्जा आती है. लेकिन आज के समय लोग काफी छोटे-छोटे और बिना आंगन वाले घर बना रहे है. जिसकी वजह से घर में ब्रह्म स्थान नहीं बच रहा है. साथ ही अगर थोड़ी सी जगह किसी ने छोड़ भी दी है तो वहां पर कई सारे सामान रख दिए जाते हैं. जिससे सकारत्मक ऊर्जाओं का घर में आगमन बाधित होता हैं. जिसका सीधा प्रभाव आपके स्वास्थ्य पर पड़ता है और आप बीमार होने लगते है.
उत्तर पूर्व दिशा का बंद होना
घर बनवाते समय कई बार लोग इसके उत्तर-पूर्व दिशा को बंद कर देते है. जिसकी वजह से घर के लोगों को काफी ज्यादा परेशानियों और मुसीबतों का सामना करना पड़ता है. वास्तुशास्त्र के अनुसार उत्तर-पूर्व दिशा में ही घर का मंदिर बनवाना चाहिए क्योंकि ऐसा करने से घर में सकारत्मक ऊर्जा का वास होता है.जिससे लोगों का स्वास्थ्य बेहतर होता है.
ईशान कोण का कटा होना
कई बार घर का ईशान कोण यानी उत्तर-पूर्व की दिशा को लोग बहुत ध्यान देकर नहीं बनवाते. जिससे वो काफी ज्यादा ख़राब और भद्दा लगने लगता हैं. ऐसे में वास्तु दोष का भी आगमन तेजी से होता हैं. वास्तुशास्त्र के अनुसार कभी घर का ईशान कोण कटा हुआ नहीं बनवाना चाहिए. ऐसा होने से घर के लोगों को रक्त विकारों और यौन-प्रजनन सम्बन्धित समस्याएं होने लगती है.
दक्षिण दिशा का खुला होना
वास्तु के अनुसार जिन घरों का दक्षिण का हिस्सा खुला होता हैं. वहां पर लोगों को ज्यादा स्वास्थ्य संबंधित परेशानियां होती रहती हैं क्योंकि वास्तुशास्त्र में दक्षिण दिशा को यम की दिशा कही जाती है. अगर ये दिशा खुली रहती है तो घर में नकारात्मक ऊर्जा का आगमन बढ़ जाता है. जिससे घर के बड़े बुर्जुर्गों को ज्यादा स्वास्थ्य संबंधित तकलीफ होने लगती है. इसलिए अपने घर में इन खास बातों का ध्यान देकर ही आप बहुत आराम से सेहत से जुड़ी कई सारी परेशानियों और तकलीफों से निजात पा सकते हैं.