आज ही के दिन 26 नवंबर 2008 को, भारत की आर्थिक राजधानी, मुंबई को चार दिनों के लिए आतंकवादियों के एक समूह ने घेर लिया था।
इन चार भयावह दिनों में 300 से अधिक लोग घायल हुए थे और विदेशियों नागरिकों सहित लगभग 166 लोग मारे गए थे।
26/11 के इस दिल दहला देने वाले आतंकवादी हमलों को लश्कर-ए-तैयबा के 10 आतंकवादियों ने अंजाम दिया था। जो पाकिस्तान के कराची से नाव के जरिए शहर में आये थे। उन्होंने भारी गोलीबारी और बम विस्फोट छत्रपति शिवाजी रेलवे स्टेशन पर करना शुरू किया और उसके बाद नरीमन हाउस, लियोपोल्ड कैफे, होटल ताजमहल और होटल ओबेरॉय आदि पर भी हमला कर दिया। इस हमले के दौरान एक आतंकवादी अजमल कसाब को जिंदा पकड़ा गया था। जिसको 2012 में फांसी दी गई थी।
मुम्बई की इस आंतकी घटना को बॉलीवुड के अलावा हॉलीवुड में भी कई फिल्मों का निर्माण किया गया है। जिसमें इस घटना को बारीकी से दिखाया गया है। आपको भी मुंबई हमले पर बनी ये 5 फिल्में जरूर देखनी चाहिए।
द अटैक ऑफ 26/11
साल 2013 में बनी यह फिल्म दस आतंकवादियों की कहानी को दिखाती है। जिन्होंने मुंबई के स्थानों में प्रवेश करने और घेराबंदी करने की विस्तृत योजनाएँ बुनने के बाद शहर पर कब्जा कर लिया। इसमें ये भी दिखाया गया है कि हमारी सुरक्षा फोर्सेज ने आंतकवादी अजमल कसाब को कैसे पकड़ा था। इस फिल्म का निर्देशन राम गोपाल वर्मा ने किया था। फिल्म इरोज नाउ और यूट्यूब पर उपलब्ध है।
द ताजमहल
साल 2015 में आयी ये फिल्म एक 18 वर्षीय फ्रांसीसी लड़की की कहानी बताती है। जो होटल ताज के कमरे से पूरा आंतकी हमला देखती है। उसके माता-पिता शहर से बाहर हैं और वह होटल के कमरे में रहना पसंद करती है। इस बात से अनजान है कि उसके दरवाजे पर दस्तक होगी। दबी हुई धमाकों से चीख-पुकार मच जाती है और गोलियां चलती रहती हैं, जिससे वह डर के मारे कांपने लगती हैं। इस मूवी को आप यूट्यूब और नेटफ्लिक्स पर देख सकते हैं।
होटल मुंबई
एंथनी मारस द्वारा निर्देशित यह एक्शन-थ्रिलर पिछले साल भारत में रिलीज हुई थी। यह होटल के कर्मचारियों और सुरक्षा कर्मियों द्वारा दर्शाई गई बहादुरी पर जोर देता है, जिन्होंने भीषण घटना में निर्दोष और पीड़ित पीड़ितों को बचाने के लिए एक पल की भी झिझक के बिना अपनी जान जोखिम में डाल दी। यह क्रूर नरसंहार के बीच अपने बच्चे को बचाने के लिए एक जोड़े के संघर्ष को भी दर्शाता है।
टेरर इन मुंबई
फरीद जकारिया द्वारा लिखित, टेरर इन मुंबई एक एचबीओ डॉक्यूमेंट्री है। जो निर्दोष लोगों की जान लेने वाली बड़ी त्रासदी से निपटने में विभिन्न दृष्टिकोणों और खामियों को उजागर करती है। प्रत्यक्षदर्शियों के साक्षात्कार, निगरानी वीडियो और पाकिस्तान में सशस्त्र आतंकवादियों और उनके नियंत्रकों के बीच हुई बातचीत को उजागर करने वाली भयावह घटना को फिर से दिखाने के लिए यह सबसे अच्छी फिल्मों में से एक है।
वन लेस गॉड
ये फिल्म अटैक के दौरान मुंबई के होटलों में फंसे विदेशी यात्रियों की कहानी पर आधारित है। उन्होंने जो भी दर्द, भयावह स्थिति उस समय देखी थी, उसे पर्दे पर बखूबी दिखाने का काम इस फिल्म में किया गया है।