छोटी कारें जिन्हें एंट्री लेवल कार्स के नाम से भी जाना जाता हैं. इनका डिमांड इंडिया में आजकल बहुत बढ़ रही हैं. इसके पीछे दो अहम कारण हैं. पहला कि इनका कीमत कम होता हैं और दूसरा कि इनके मेंटेंनेस का खर्च भी अधिक नहीं होता हैं.
लेकिन इनमें सबसे बड़ी दिक्कत आती हैं स्पेसिंग की. असल में छोटी साइज में होने के कारण इनमें स्पेस बहुत कम होता हैं. इसलिए आज हम आपको कुछ ऐसे टिप्स बताने जा रहे हैं जिनका इस्तेमाल करके आप स्पेस की इस समस्या को आसानी दूर कर सकते हैं......
सीट रिक्लाइनिंग करके:
- अगर आप कार की सीट को रिसाइकिल करते हैं तो स्पेस थोड़ा सा बढ़ जाता है.
- साथ ही आप सीट रिक्लाइन करके केबिन की भी साइज बढ़ा सकते है. जिससे आपको कम्फर्टेबल पोजीशन मिल जाता हैं.
एक्स्ट्रा कुशनिंग है कम करके:
- आपकी कार के एक्स्ट्रा कुशनिंग या पिलो है तो वो काफी स्पेस घेरते हैं.
- जब भी आप फैमिली के साथ कार से कहीं जा रहे हैं तो इनको बाहर निकाल सकते हैं.
- इसा तरह से आपके कार के अंदर स्पेस बढ़ जायेगा.
हैंड रेस्ट देके:
- आमतौर पर कारों की पिछली सीट्स पर हैंड रेस्ट बनाया जाता है. इससे आपको कम्फर्टेबल सीटिंग पोजीशन मिल जाती हैं.
- इस हैंड रेस्ट को आप अनफोल्ड करके अपनी कार में थोड़ा स्पेस बढ़ा सकते हैं.
- इस तरह से कार के पिछले हिस्से में स्पेस बढ़ जाता हैं. जिससे जगह की प्रॉब्लम सोल्वे हो जाती हैं.
फ्रंट सीट को एडजस्ट करके:
- कार के पिछेल सीट पर बैठे लोगों को अगर जगह की कमी लगे तो वो अपने सामने वाले फ्रंट सीट पर बैठे पैसेंजर की सीट को एडजस्ट करवा सकते हैं. इससे थोड़ा सा स्पेस बढ़ जाता हैं.
- इस तरह से पैर के पास स्पेस काफी बढ़ जाता है और कम्फर्टेबल सीटिंग पोजीशनमिल जाती है.