Rah Rah Ke Mujhe Itana Rulaate Kyoon Ho
Yaad Kar Nahee Sakate To Yaad Aate Kyoon Ho
मेरी सादगी ही गुमनामी में रखती है मुझे,
जरा सा बिगड़ जाऊं तो मशहूर हो जाऊं।
दोस्तीचलो आज फिर उसी बचपन में लौट चलेबैठे फिर से उसी बूढ़े पीपल की छांव तले|